LUCKNOW : उत्तर प्रदेश सरकार ने अब तक 70 हजार से ज्यादा बन्दियों का कोरोना टेस्ट करवाया जिसमें 1690 बन्दी तथा 59 जेल स्टाफ कोरोना पाजिटिव पाये गये। आप को जान कर हैरानी होगी कि शत-प्रतिशत बन्दी जल्द ही कोरोना निगेटिव हो गये। इस दरम्यिान किसी भी जेल बंदी की इस बीमारी से मौत नहीं हुई। उल्टे जेल में बंदियों को यूपी वासियों पर बड़ा एहसान है। जेल बंदियों ने कोरोना काल के दौरान लगभग 30 लाख मास्क तथा 2400 पीपीई किट का निर्माण किया गया
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर प्रदेश की जेलों को कोरोना के संक्रमण से बचानेे हेतु सघन प्रयास किये जा रहे हैं। कारागारों में निरूद्ध बन्दियों के युद्ध स्तर पर अधिकाधिक कोविड टेस्ट कराये जाने के प्रयास चल रहें हैं, जिसके तहत अब तक 70 हजार से अधिक टेस्ट कराये जा चुके हैं, जिनमें से 1690 बन्दी तथा 59 जेल स्टाफ संक्रमित पाया गया है।
अपर मुख्य सचिव, गृह एवं कारागार ने उक्त जानकारी देते हुये बताया कि सुखद स्थिति यह है कि शत-प्रतिशत बन्दी उपचारोपरान्त स्वस्थ हो रहे हैं। सत्त निगरानी एवं सतर्कता के कारण प्रदेश के कारागारों में निरूद्ध बन्दियों में कोरोना संक्रमण को कम किया जा सका है। प्रदेश की जेलों को कोरोना संक्रमण से बचाने हेतु किये गये उपायोें के तहत 64 जिलों में अब तक कुल 83 अस्थायी जेलों का निर्माण किया जा चुका है।
नये आने वाले बन्दियों को सर्वप्रथम इन अस्थायी जेलों में रखा जा रहा है तथा कोविड टेस्ट कराने पर निगेटिव रिपोर्ट पाये जाने के पश्चात ही इन बन्दियों को स्थायी जेलों में निरूद्ध किया जा रहा है।
पुलिस महानिदेशक एवं महानिरीक्षक कारागार आंनद कुमार ने इस संबंध में की गयी कार्यवाही का विस्तृत ब्यौरा देते हुये बताया है कि जेलों में बैनर, पोस्टर एवं पब्लिक ऐड्रेस सिस्टम द्वारा बन्दियों को कोरोना से बचाव के प्रति जागरूक किया गया।
उन्होनें बताया कि नये बन्दियों के टेस्ट में पाॅजिटिव पाये जाने पर उन्हें विभिन्न कोविड अस्पतालों में भर्ती कराया जाता है। उनके निगेटिव पाये जाने पर भी सतर्कता बरतते हुये इन बन्दियों को स्थायी कारागार में भी 14 दिन तक क्वाॅरेंटाइन में रखने की व्यवस्था की गयी है।
प्रदेश की जेलों में सिलाई यूनिटों की स्थापना कराकर मास्क निर्माण का कार्य किया जा रहा है। बन्दियों को भी मास्क व सैनिटाइजर बनाने में अपना योगदान देने हेतु प्रोत्साहित किया गया। परिणाम स्वरूप अब तक लगभग 30 लाख मास्क तथा 2400 पीपीई किट का निर्माण किया जा चुका है। विभिन्न कारागारें अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए सैनिटाइजर का भी निर्माण कर रही है। लगभग 14.5 लाख मास्क तथा 250 पीपीई किट विभिन्न शासकीय तथा गैर शासकीय संस्थानों को प्रदान की गयी है।