लखनऊ : उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने बयान जारी करते हुए कहा है कि कहा कि उत्तर प्रदेश चैतरफा अव्यवस्था से जूझ रहा है। विकास अवरुद्ध है, जनता आर्थिक रूप से टूट चुकी है, छात्र नौजवान बेरोजगारी की मार झेल रहे है। उन्होंने कहा कि वैश्विक महामारी में प्रदेश के लाखों लोग अन्य राज्यों में अपने चलते हुए काम धंधे छोड़ कर घर आने पर विवश हुए थे।
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के चलते लाखो लोगो ने अपना रोजगार खोया लेकिन प्रदेश सरकार की तरफ से उनके लिए रोजगार के कोइ वैकल्पिक संसाधन नहीं जुटाये गये और न ही उनके मूल रोजगार की तरफ कोई ध्यान दिया गया।
उन्होंने कहा कि बीजेपी और मुख्यमंत्री योगी ने चुनाव पूर्व प्रदेश की जनता से 70 लाख रोजगार सृजन यानी 14 लाख प्रति वर्ष रोजगार देने का वादा किया था। पर साढ़े तीन साल बीत जाने के बाद मुख्यमंत्री योगी ने कल खुद स्वीकार किया है कि साढ़े तीन वर्षों में 3 लाख लोगो को रोजगार दिया है।
इससे यह साबित होता है कि बेरोजगारी कि स्थिति बहुत भयावह है। यही बात प्रदेश के श्रम मंत्री मेरे द्वारा पूंछे गए प्रश्न के जवाब में कह चुके है कि प्रदेश बेरोजगारी की स्थिति बहुत भयावह है, रोजगार के अवसर कम हुए है।
2018 के मुकाबले 2019 में बेरोजगारी दोगुनी हुई है। श्रम मंत्री ने लिखित जवाब में कहा है कि 18 में बेरोजगारी दर 5.92 प्रतिशत थी जो 2019 में बढ़ कर 9.97 प्रतिशत हो गयी। उन्होंने योगी सरकार पर आरोप लगाया कि योगी सरकार कोई नया रोजगार युवाओं को उपलब्ध नही करा पाई है। प्रदेश में भाजपा राज में कोई भी नही फैक्ट्री, पी.एस.यू. की स्थापना हुई जिसके चलते नए रोजगार सृजन हुए हों।